संसद में नोक-झोंक और बहस तो अक्सर होती ही रहती है।
लेकिन मालदीव की संसद में जो कुछ वह अपने आपमें काफी हैरान करने वाला है। यहां पर संसद में न सिर्फ लात-घूंसे चले, बल्कि सांसदों ने एक-दूसरे को उठाकर जमीन पर भी पटक दिया।
इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। वायरल वीडियो में दिखाई दे रहा है कि एक सांसद दूसरे का पैर पकड़कर खींच रहा है।
यह सब हुआ है मुइज्जू मंत्रिमंडल को लेकर होने वाली वोटिंग के लिए। असल में यहां पर रविवार को मंत्रिमंडल के लिए वोटिंग होने वाली थी।
लेकिन विपक्षी दल ने कहा कि वह चार मंत्रियों की मंजूरी रोक देगी। सत्ताधारी दल इसके विरोध में उतर गया और हाथापाई होने लगी।
होनी थी वोटिंग आज मालदीव में मुइज्जू के मत्रिमंडल पर संसद में मतदान होना था। इसके लिए रविवार दोपहर का समय तय हुआ था। जब विपक्ष ने जब इसको रोकने की बात कही तो सत्ताधारी सांसदों ने कार्यवाही रोक दी।
यह लोग स्पीकर के कमरे में भी पहुंच गया। इतना ही नहीं, सदन में लगा दिया गया और वोटिंग कार्ड भी छीने गए। सरकार के समर्थक संसद के बाहर प्रदर्शन कर रहे हैं।
इन लोगों की मांग है कि कैबिनेट मंत्रियों को मंजूरी दी जाए। वहीं, विपक्ष ने आरोप लगाया है कि सत्तारूढ़ दल उन्हें वोटिंग नहीं करने दे रहा है।
भ्रष्टाचार से जुड़ा है मामला असल में मालदीव के नए राष्ट्रपति पिछले साल ही चुने गए हैं। उनके कुछ मंत्रियों पर करप्शन के आरोप हैं, इसलिए विपक्ष उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया जाए।
जिन मंत्रियों को लेकर विपक्ष को आपत्ति है, उनके नाम हैं अटॉर्नी जनरल अहमद उशम, आवास भूमि और शहरी विकास मंत्री डॉ. अली हैदर, इस्लामी मामलों के मंत्री डॉ. मोहम्मद शहीम अली सईद और आर्थिक विकास और व्यापार मंत्री मोहम्मद सईद।
दूसरी तरफ एक अन्य विपक्षी पार्टी डेमोक्रेट्स विदेश मामलों के मंत्री मूसा जमीर को बाहर का रास्ता दिखाना चाहता है।
समाज ने मुख्यमंत्री साय को कंवर गौरव सम्मान से नवाजा
राजधानी के टाटीबंध में कंवर समाज के भवन विस्तार के लिए 50 लाख रूपए की घोषणा
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा है कि आदिवासी समाज के बेटे को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री का दायित्व मिलना पूरे कंवर समाज का सम्मान है।
उन्होंने कहा कि देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कंवर समाज के एक छोटे से कार्यकर्ता को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री का दायित्व सौंपा है।
मैं कंवर समाज की ओर से प्रधानमंत्री को धन्यवाद देता हूं। यह दायित्व मिलना कंवर समाज के साथ-साथ पूरे आदिवासी समाज का सम्मान है।
मुख्यमंत्री साय आज राजधानी रायपुर के इंडोर स्टेडियम में आयोजित सम्मान समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। इस मौके पर कंवर समाज द्वारा मुख्यमंत्री साय को ‘‘कंवर गौरव’’ सम्मान दिया गया।
मुख्यमंत्री साय ने टाटीबंध में कंवर समाज के भवन के विस्तार के लिए 50 लाख रूपए की राशि देने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि मेरे लिए आज बड़ी खुशी का दिन है। कंवर समाज ने मुझे कंवर गौरव से सम्मानित किया है, इसके लिए मैं पूरे समाज का बहुत आभारी रहूंगा।
उन्होंने कहा कि मैं यहां आप सभी से आशीर्वाद और सहयोग मांगने आया हूं क्योंकि हमारे प्रधानमंत्री और प्रदेश की जनता ने मुझ पर जो विश्वास किया है इसे निभाने के लिए आप सभी का सहयोग और समर्थन चाहिए ताकि मैं इस पद की गरिमा, विश्वास और उम्मीद पर खरा उतर सकूं।
उन्होंने कहा जिस तरह समाज ने मेरा सम्मान किया है उससे मुझे विश्वास हो गया है कि इस पद का दायित्व निभाने में मुझे आप सभी का पूरा सहयोग मिलेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आदिवासी समाज में अनेक विभूतियां हुई हैं, जिन्होंने पूरे समाज को एक नई दिशा दी। उन्होंने परम पूज्य गहिरा गुरू का स्मरण करते हुए कहा कि गहिरा गुरू ने रामायण की शिक्षा देकर समाज के लोगों को मांस और मदिरा से दूर किया।
इसी का परिणाम है कि वनवासी समाज आर्थिक, शैक्षणिक, सामाजिक रूप से आगे बढ़ा।
उन्होंने काका लरंग साय को नमन करते हुए कहा कि उनकी वजह से हमारा समाज राजनीति के क्षेत्र में आगे बढ़ा है। मध्य प्रदेश के पूर्व उपमुख्यमंत्री प्यारेलाल कंवर जी को याद करते हुए कहा कि उनका मार्गदर्शन और स्नेह उन्हें हमेशा मिला।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि सरकार को सिर्फ डेढ़ महीने हुए है लेकिन इस कम समय में ही मोदी की गारंटी को पूरा करने में हमारी सरकार ने अपना प्रयास शुरू कर दिया है।
13 दिसम्बर को हमारी सरकार ने शपथ ली और इसके दूसरे दिन ही 14 दिसम्बर को हमने कैबिनेट में निर्णय लिया कि प्रधानमंत्री आवास योजना से वंचित 18 लाख आवासहीन परिवारों का मकान बनाना है।
25 दिसम्बर सुशासन दिवस के अवसर पर प्रदेश के 12 लाख से ज्यादा किसानों को 3716 करोड़ रूपए की बकाया बोनस राशि उनके खातों में अंतरित कर दी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा। छत्तीसगढ़ पीएससी में जो घोटाला हुआ था, इसकी जांच का काम हमने सीबीआई को सौंप दिया है।
उन्होंने कहा कि मोदी की गारंटी में हमारी सरकार ने जितने भी वादे किए हैं, इन सभी वादों को पूरा करने के लिए हम निरंतर कार्य कर रहे हैं।
हम इन पांच वर्षों में छत्तीसगढ़ की जनता से किया गया हर वादा पूरा करेंगे। हाल ही में अयोध्या में हम सबके आराध्य रामलला विराजे हैं।
मोदी की गारंटी में हमारा एक वादा यह भी है कि छत्तीसगढ़ की जनता को सरकारी खर्च में रामलला के दर्शन कराएंगे। इसके लिए रामलला दर्शन योजना प्रारंभ की गई है।
अखिल भारतीय कंवर समाज की अध्यक्ष श्रीमती कौशल्या विष्णु देव साय ने समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि हम सब एक आंगन, एक छत के नीचे खुशियां बांटने के लिए एकत्रित हुए हैं। आप सभी के स्नेह और प्यार की वजह से आज साय जी मुख्यमंत्री के पद पर विराजमान हैं।
उन्होंने कहा कि हमें अच्छा कर्म करना है तो धर्म से जुड़े रहना होगा। प्रभु श्रीराम कल भी थे, आज भी हैं और कल भी रहेंगे। धर्म के पथ पर चलकर ही हम कंवर समाज का अस्तित्व बचाए रख सकते हैं।
उन्होंने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि समाज के युवा न केवल अपनी परंपराओं से जुड़े हैं बल्कि उसका निर्वहन भी कर रहे हैं।
राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग के पूर्व अध्यक्ष नंद कुमार साय ने कहा कि मैंने आदिवासी मुख्यमंत्री की मांग की थी जो अब पूरी हो गयी है।
मैं मुख्यमंत्री जी का अभिनंदन करता हूं, इन्हें जो दायित्व मिला है उसमें मुख्यमंत्री जी सफल हो। पूर्व मंत्री ननकीराम कंवर ने कहा कि समाज के लोगों में नशे के प्रति जागरूकता आए तो समाज और ज्यादा तरक्की करेगा।
कंवर समाज के प्रदेश अध्यक्ष हरवंश मिरी ने स्वागत उद्बोधन दिया। उन्होंने कहा कि सभी समाजों को साथ लेकर चलने वाले सरल, सहज व्यक्तित्व के धनी मुख्यमंत्री साय के नेतृत्व में प्रदेश निरंतर विकास करेगा।
उन्होंने बताया कि इस समारोह में कंवर समाज के लोग स्व-स्फूर्त देश के अलग-अलग हिस्सों से यहां पहुंचे हैं।
समारोह में मुख्यमंत्री का हुआ भव्य स्वागत मुख्यमंत्री का समारोह स्थल पहुंचने पर भव्य स्वागत किया गया। छत्तीसगढ़ के विभिन्न हिस्सों से आए नर्तक दलों ने आकर्षक नृत्य प्रस्तुति से समा बांध दिया।
कंवर समाज के पदाधिकारियों ने सामाजिक परंपरा के अनुसार मुख्यमंत्री को मांदर भेंट किया और गजमाला से उनका स्वागत किया।
इसके अलावा अन्य क्षेत्रों से आए समाज प्रमुखों की ओर से उन्हें पगड़ी पहनाकर सम्मानित किया और युवाओं ने उन्हें स्केच भी भेंट किया।
इस मौके पर युवाओं द्वारा कंवर समाज के प्रसिद्ध बार नृत्य की प्रस्तुति दी गई। कार्यक्रम के प्रारंभ में मुख्यमंत्री ने कंवर समाज के पुरोधाओं को नमन कर उनका आशीर्वाद लिया।
कंवर समाज के युवा हुए सम्मानित मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने समारोह में कंवर समाज के उत्थान में शिक्षा, स्वास्थ्य, संस्कृति सहित विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट योगदान देने वाले युवाओं को सम्मानित किया।
इस मौके पर कंवर वार्षिक कैलेण्डर 2024 और सामाजिक पत्रिका हरिहर मड़वा – भाग दो का विमोचन किया।
समारोह में पूर्व मंत्री रामसेवक पैंकरा, पूर्व मंत्री सत्यानंद राठिया, पूर्व संसदीय सचिव चिंतामणी महाराज, रामलखन पैकरा, श्रीमती सविता साय, श्रीमती कुलेश्वरी पैंकरा, प्रदेश कार्यकारिणी के सदस्य संदीप पैंकरा, शिव कंवर सहित देशभर से आए कंवर समाज के पदाधिकारीगण सहित बड़ी संख्या में समाज के लोग उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री अनुदान प्राप्त अशासकीय स्कूलों के शिक्षक एवं कर्मचारी संगठन के कार्यक्रम में हुए शामिल
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा है कि शिक्षा से ही परिवार समाज और उन्नत और समृद्ध राष्ट्र की नींव रखी जा सकती है।
यह कार्य हमारे शिक्षक करते हैं इसलिए उन्हें गुरू का दर्जा दिया गया है। हम सबको मिलकर शिक्षा के स्तर को उन्नत करना है।
मुख्यमंत्री साय आज शाम राजधानी रायपुर के राष्ट्रीय उच्चतर माध्यमिक स्कूल में अनुदान प्राप्त अशासकीय स्कूलों के शिक्षक एवं कर्मचारी के सम्मेलन-सह-सम्मान समारोह को सम्बोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी देश की भविष्य को उज्जवल बनाने के लिए नई शिक्षा नीति लाए है।
र्नइं शिक्षा नीति से बच्चों के स्वर्णिम भविष्य के साथ ही शिक्षकों को उनका अधिकार और सम्मान मिलेगा।
उन्होंने प्रधानमंत्री के संयुक्त राष्ट्र के सभा में दिए गए भाषण का उल्लेख करते हुए कहा कि मोदी जी ने भाषण में अपने देश के लिए कुछ नहीं मांगा, बल्कि उन्होंने सभी देशों को योग को नियमित जीवन में अपनाने की अपील कर भारत का विश्व गुरू बनने की दिशा में एक पहल की है।
उन्होंने कहा कि वे अशासकीय स्कूलो की समस्याओं से अवगत हैं, उन्होंने स्वयं अनुदान प्राप्त स्कूलों में पढ़ाई की है। उन्होंनें कहा कि अनुदान प्राप्त शिक्षकों के सभी मांगों को विधिसम्मत पूरा किया जाएगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि अनुदान प्राप्त शिक्षकों कहा कि किसी के साथ भेद-भाव नही होंगा सबकों सबका अधिकार मिलेगा।
उन्होेंने शिक्षकों की मांग पर आगामी तीन माह में आवश्यक कार्यवाही करने का आश्वासन भी दिया।
उन्होंने कहा कि शासकीय स्कूलों में आगामी सत्र से पहला परेड योग व नैतिक शिक्षा और अंतिम क्लास खेल का होगा। उन्होंने शिक्षकों से बेहतर शिक्षा के साथ-साथ विद्यार्थियों को संस्कारवान बनाने का आग्रह किया।
इस अवसर पर छत्तीसगढ़ औषधीय एवं पादप बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष एवं समाज सेवी रामप्रताप सिंह, संगठन के अध्यक्ष संजय दुबे सहित बड़ी संख्या में प्रदेश भर के अनुदान प्राप्त अशासकीय स्कूलों के शिक्षक और कर्मचारी उपस्थित थे।
रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध को अगले महीने फरवरी में तीन साल पूरे हो जाएंगे।
रूस और यूक्रेन के बीच चल रही यह जंग विश्व युद्ध से कम नहीं क्योंकि, एक तरफ रूस प्रत्यक्ष रूप से अकेले खड़ा है तो दूसरी तरफ 27 यूरोपीय देश और अमेरिका की मदद के सहारे यूक्रेन युद्ध में सफलता पूर्वक टिका है। टिका ही नहीं, उसने कई राज्यों को रूसी सेना से आजाद भी करा दिया है।
दोनों देशों के बीच वर्चस्व की इस जंग में यूक्रेन को नुकसान तो हुआ ही है, लेकिन रूस ने भी अपनी संपदा, ख्याति और 90 फीसदी सैनिकों की जान गंवा दी है। इस भयंकर जंग के बीच यूक्रेन में बड़ा सैन्य घोटाला सामने आया है।
ऐसी जानकारी सामने आई है कि रक्षा मंत्रालय और सेना के बड़े अधिकारियों ने हथियारों की खरीद के नाम पर 33 अरब रुपए डकार दिए।
यूक्रेन की एसबीयू सुरक्षा सेवा ने शनिवार को कहा कि उसने देश की सेना द्वारा हथियारों की खरीद में लगभग 40 मिलियन डॉलर (करीब 33 अरब रुपए) के भ्रष्टाचार का खुलासा किया है।
यूक्रेन के रक्षा मंत्रालय ने भी मामले में पुष्टि कर दी है कि रूस के साथ दो साल से चल रही जंग के बीच यूक्रेन में बड़ा सैन्य घोटाला हुआ है। इस भ्रष्टाचार की सूचना मिलने के बाद देश में यह प्रमुख मुद्दा बन गई है।
सेना को मोर्टार गोले खरीदने थे, पैसा दबा गए अधिकारी एसबीयू ने कहा कि जांच में “रक्षा मंत्रालय के अधिकारियों और हथियार आपूर्तिकर्ता लविव आर्सेनल के प्रबंधकों का पर्दाफाश हुआ है, जिन्होंने गोले की खरीद में लगभग 1.5 बिलियन रिव्निया (यूक्रेनी मुद्रा) चुराए।”
जांच के अनुसार, इस घोटाले में “रक्षा मंत्रालय के पूर्व और वर्तमान उच्च पदस्थ अधिकारी और संबद्ध कंपनियों के प्रमुख गबन में शामिल हैं।” इसमें कहा गया है कि गबन में यूक्रेनी सेना को 1,00,000 मोर्टार गोले की खरीद शामिल थी।
पैसा 2 साल पहले दिया, अभी तक नहीं मिले हथियार एसबीयू ने कहा कि मोर्टार गोले के लिए अगस्त 2022 में ल्वीव आर्सेनल के साथ एक अनुबंध किया गया था। यह युद्ध शुरू होने के छह महीने बाद हुआ था।
भुगतान एडवांस में किया गया था। कुछ धनराशि विदेश में स्थानांतरित की गई थी। बयान में कहा गया है, लेकिन इतना वक्त बीत जाने के बाद भी सेना को कोई हथियार मुहैया नहीं कराया गया।
जांच में पता लगा कि ट्रांसफर की गई वो रकम उन खातों से भी अन्य विदेशी बैंक खातों में ट्रांसफर की गई।
पांच को नोटिस, एक गिरफ्तार बयान में कहा गया है कि पांच व्यक्तियों को “संदेह के नोटिस” दिए गए हैं। इसमें रक्षा मंत्रालय और हथियार आपूर्तिकर्ता दोनों से जुड़े टॉप अधिकारी हैं।
इसमें कहा गया है कि एक संदिग्ध को यूक्रेनी सीमा पार करने की कोशिश करते समय हिरासत में लिया गया है।
यूक्रेन में भ्रष्टाचार पर बहुत सख्त है जेलेंस्की सरकार बता दें कि यूक्रेन में वलोडोमिर जेलेंस्की सरकार भ्रष्टाचार के मामले में बेहद गंभीर रही है। यूक्रेन में सेना के भीतर भ्रष्टाचार एक विशेष रूप से संवेदनशील मुद्दा इसलिए भी है क्योंकि यह युद्ध के समय हुआ है, जब यूक्रेन अपने वर्चस्व की लड़ाई लड़ रहा है और मदद के लिए 27 यूरोपीय देशों से लगातार मदद मांग रहा है।
पिछले साल सितंबर महीने में तत्कालीन रक्षा मंत्री ओलेक्सी रेजनिकोव को पश्चिमी सहयोगियों के साथ चर्चा में यूक्रेन का प्रतिनिधित्व करने के बावजूद विभिन्न भ्रष्टाचार के मामलों में बर्खास्त कर दिया गया था।
हालांकि उन पर व्यक्तिगत रूप से भ्रष्टाचार में शामिल होने का आरोप नहीं लगाया गया, लेकिन उनके नेतृत्व में भ्रष्टाचार के कई मामले आए थे- जिसमें सैनिकों को भोजन की पर्याप्त आपूर्ति न देना और सैनिकों के लिए उपयुक्त कपड़े उपलब्ध न करना शामिल था।
आंध्र प्रदेश के पूर्वी गोदावरी जिले से एक हैरान करने वाली घटना सामने आई। यहां खेत में एक शख्स का जला हुआ शव पाया गया।
शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया लेकिन इसी बीच उसी शख्स का फोन परिवार वालों के पास आ गया। बाद में जब घटना का पूरा भेद खुला तो सब हैरान रह गए।
दरअसल रंगमपेट मंडल के वीरमपालेम गांव में एक शव पाया गया। शव इतना जला हुआ था कि उसकी पहचान करना मुश्किल था। शव क पास में ही चप्पल पाए गए। ये चप्पल खेत को मालिक के ही थे।
रंगमपेट पुलिस स्टेशन के सब इन्स्पेक्टर ने बताया कि 26 जनवरी की सुबह किसी ने फोन करके सूचना दी कि केटामल्ला पुसैया के खेत में ट्रांसफार्मर के पास एक जला हुआ शव पाया गया गया है।
वहां पास में पुसैया का चप्पल पड़ा था। ऐसे में लोगों को लगा कि यह शव पुसैया का ही है। वह अनाज का व्यापार करता था। ऐसे में शक यही किया गया कि व्यापारी को किसी दुश्मनी की वजह से मार दिया गया है।
पुलिस ने शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया। तभी पुसैया के परिवार के पास उसका फन आ गया। पुसैया ने बताया कि वह जिंदा है।
उसने अपना पता बताया तो पुलिस के साथ उसके रिश्तेदार वहां पहुंचे। पुसैया घायल अवस्था में वहीं मिला। उसने बताया कि कुछ लोगों ने उसकी बहुत पिटाई की है।
उसने बताया कि कुछ अज्ञात लोग उसके खेत पर आए थे और उन्होंने एक शव को पेट्रोल डालकर जलाने की कोशिश की।
पुसैया ने जब विरोध किया तो उसे उन लोगों ने ही पकड़ लिया और ऑटो में बैठा लिया। मारपीट के दौरान ही पुसैया का चप्पल वहां छूट गया था।
इसके बाद आरोपी उसे अनजान जगह पर ले गए और मारपीट कर फेंक दिया। पुसैया ने कहा, जब उसेहोश आया तो पता चला कि वह एक खेत में पड़ा था।
इसके बाद वहां से गुजरने वाले शख्स का फोन लेकर उसने अपने परिवार को कॉल किया था। पुलिस का कहना है कि अभी यह नहीं पता चल पाया है कि आरोपी कौन थे और जो शव जलाया गया, वह किसका था।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।
सवा तीन साल के कार्यकाल में उनका यह दूसरा इस्तीफा है। अब वह इसी विधानसभा कार्यकाल के दौरान तीसरी बार मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे।
नीतीश के इस्तीफे पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने हमला बोला है और कहा है कि देश में कई आया राम, गया राम हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें पहले से पता था कि नीतीश पलटी मारने वाले हैं।
खरगे ने कहा कि हमने जब लालू यादव और तेजस्वी जी से बात की तो उन लोगों ने कहा था कि हमें लगता है कि वह हमारे हाथ से चले जाएंगे।
उन्होंने कहा था कि यदि नीतीश कुमार अलग भी हो जाएंगे तब भी हम मिलकर लड़ेंगे। मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि हम गठबंधन की खातिर चुप थे।
हम चाहते थे कि अपनी तरफ से कुछ भी न बोला जाए ताकि कोई गलत संदेश न जाए।
खरगे के आरोप पर जेडीयू नेता केसी त्यागी ने पलटवार किया है और आरोप लगाया है कि कांग्रेस इंडिया अलायंस को हड़पना चाह रही थी।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने एक कॉकस बना रखा है और उसी की साजिश के जरिए खरगे को अलायंस का अध्यक्ष बनाया गया था।
त्यागी ने कहा कि कांग्रेस ने जानबूझकर सीटों का बंटवारा लटका कर रखा था। त्यागी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस क्षेत्रीय दलों को खत्म करना चाहती थी।
जेडीयू नेता ने कहा कि कांग्रेस की खराब मंशा की वजह से ही किसी भी राज्य में कांग्रेस के साथ सीट बंटवारा नहीं हो सका है।
उधर, इस्तीफा देने के बाद नीतीश कुमार ने इंडिया गठबंधन पर हमला बोला था और कहा था कि वहां कुछ नहीं हो रहा था। इससे वह तकलीफ में थे क्योंकि उनकी पहल पर ही इंडिया गठबंधन बना था।
नीतीश ने इंडिया अलायंस पर कहा कि लोगों में बहुत दुख और आशंका थी,उधर कुछ काम नहीं हो रहा था, इसलिए इस्तीफा दे दिया।
अब नीतीश कुमार बीजेपी के साथ मिलकर नई सरकार बनाएंगे। माना जा रहा है कि आज शाम नीतीश कुमार शपथ ग्रहण कर सकते हैं।
उनके साथ बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार सिन्हा उप मुख्यमंत्री बन सकते हैं।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय 28 जनवरी को राजधानी रायपुर में आयोजित विभिन्न कार्यक्रमों में शामिल होंगे।
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार मुख्यमंत्री विष्णु देव साय 28 जनवरी को सुबह 9.30 बजे राज्य अतिथि गृह पहुना शंकर नगर से प्रस्थान कर सुबह 9.40 बजे इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के पीछे ग्राम सेड़ीखेड़ी पहुंचेंगे और वहां सुबह 9.45 बजे से आयोजित राधास्वामी सत्संग ब्यास के वार्षिक सत्संग कार्यक्रम में शामिल होंगे।
मुख्यमंत्री कार्यक्रम पश्चात सुबह 10.40 बजे राज्य अतिथि गृह पहुना लौट आएंगे।
मुख्यमंत्री साय राज्य अतिथि गृह पहुना शंकर नगर से दोपहर 1.50 बजे प्रस्थान कर दोपहर 2 बजे सरदार बलबीर सिंह जुनेजा इंडोर स्टेडियम पहुंचेंगे और वहां आयोजित कंवर महोत्सव कार्यक्रम में शामिल होंगे।
मुख्यमंत्री साय कार्यक्रम पश्चात अपरान्ह 4 बजे कचहरी चौक के निकट राष्ट्रीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय जाएंगे और वहां शासकीय अनुदाप प्राप्त शिक्षक एवं कर्मचारी संगठन के सम्मान सम्मेलन में शामिल होंगे।
कार्यक्रम पश्चात मुख्यमंत्री शाम 5.05 बजे राज्य अतिथि गृह पहुना शंकर नगर लौट आएंगे और शाम 6 बजे वहां से प्रस्थान कर शाम 6.10 बजे समता कालोनी स्थित महाराजा अग्रसेन इंटरनेशनल कॉलेज पहुंच कर वहां मैक कार्निवाल संस्कार 2023-24 के कार्यक्रम में शामिल होंगे।
मुख्यमंत्री साय कार्यक्रम पश्चात शाम 7.25 बजे राज्य अतिथि गृह पहुना शंकर नगर लौट आएंगे।
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने काशी के ज्ञानवापी मस्जिद को लेकर बड़ा बयान दिया है।
उन्होंने रविवार को मुसलमानों से अपील की कि वे इस जगह को हिंदुओं को सौंप दें।
उन्होंने कहा, ‘मुसलमानों के शरीयत में यह कहा गया है कि अगर मंदिर तोड़कर कोई मस्जिद बनाई गई हो तो वहां पर नमाज अदा नहीं किया जा सकता है। जब यह प्रत्यक्ष हो गया है कि मंदिर तोड़कर मस्जिद बनी है तो ज्ञानवापी मस्जिद को मुसलमानों को खुद ही हिंदुओं को समर्पित कर देना चाहिए। इस तरह से भाईचारा बना रहेगा।’
आचार्य सत्येंद्र दास ने विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए यह बात कही, जिसमें उन्होंने ज्ञानवापी की ASI सर्वे रिपोर्ट का हवाला दिया था।
मुख्य पुजारी ने कहा, ‘जब उनके (मुसलमानों) शरीयत में मंदिर तोड़कर मस्जिद बनाने की इजाजत नहीं है तो फिर उन्हें आलोक कुमार का सुझाव मान लेना चाहिए।
मुसलमानों को यह बात मान लेनी चाहिए और इसे हिंदुओं को सौंप देना चाहिए। इसके बाद हिंदू वहां पर मंदिर बनाएंगे, या फिर ऐसे ही पूजा-पाठ करेंगे जो कि उनकी जिम्मेदारी होगी। इस तरह से आपसी भाईचारा बना रहेगा और देश की गंगा-जमुनी संस्कृति भी बच जाएगी।’
मुसलमानों को किसी के भड़काने से बचना होगा: सतेंद्र दास राम मंदिर के मुख्य पुजारी ने कहा कि मुसलमानों को किसी के भड़काने से बचना चाहिए।
उन्हें ज्ञानवापी हिंदुओं से सौंप देनी चाहिए। यही सही होगा। उन्होंने कहा, ‘हमारी यह मांग नई नहीं है। अयोध्या, काशी और मथुरा की मांग लंबे समय से उठाई जाती रही है।
इन तीनों जगहों पर मंदिर बनाने की मांग रही है। साथ ही ASI के सर्वे भी यही बताते हैं कि यहां पर मंदिर तोड़कर मस्जिदें बनाई गईं। इसलिए मुसलमानों को इस पर ध्यान देना होगा।’
इससे पहले विहिप के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा था, ‘एएसआई की ओर से जुटाए गए सबूत और निष्कर्ष यह साबित करते हैं कि इस पूजा स्थल का धार्मिक स्वरूप 15 अगस्त, 1947 को अस्तित्व में था और वर्तमान में यह एक हिंदू मंदिर है। इस प्रकार उपासना स्थल अधिनियम 1991 की धारा चार के अनुसार भी ढांचे को हिंदू मंदिर घोषित किया जाना चाहिए।’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के प्रति आभार व्यक्त किया
उसलापुर-बिलासपुर के बीच रेल फ्लाईओवर का काम पूरा
बिलासपुर रेलवे फ्लाईओवर के प्रारम्भ होने से कटनी की दिशा में चलने वाली गाड़ियां मुंबई-हावड़ा मार्ग पर निर्बाध दौड़ सकेंगी।
इस फ्लाईओवर के पूर्ण होने पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के प्रति आभार व्यक्त किया।
उसलापुर-बिलासपुर के बीच रेल फ्लाईओवर का काम पूरा हो गया है और इसे शुरू कर दिया गया है। इस ट्रैक पर ट्रेनों का परिचालन जल्द शुरू किया जाएगा।
इसे लेकर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने अपने एक्स हैंडल पर वीडियो शेयर किया है। इसके जरिए उन्होंने लिखा है कि छत्तीसगढ़ में रेलवे नेटवर्क में यह महत्वपूर्ण क्षमता जोड़ेगा।
वहीं इस उपलब्धि के लिए छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने रेलमंत्री का आभार जताया है।
इस फ्लाईओवर के शुरू होने से बिलासपुर यार्ड में ट्रेनों के क्रॉस होने की बड़ी परेशानी भी पूरी तरह से खत्म हो जाएगी।
सबसे बड़ी उपलब्धि ट्रेनों के परिचालन की स्थिति रहेगी, जिसमें सुधार होगा। वर्तमान में ट्रेनों को कटनी दिशा की ओर जाने में बिलासपुर यार्ड को क्रॉस करना पड़ता है।
इसमें काफी समय लगता है। इसके साथ ही इस समय तक रायपुर से बिलासपुर और बिलासपुर से रायपुर दिशा की ओर आने-जाने वाली ट्रेनों को नियंत्रित भी करना पड़ता है। इसके चलते ट्रेनें लेट होती रही हैं।
इस फ्लाईओवर से ट्रेनों की आवाजाही शुरू होने के बाद बिलासपुर से कटनी की दिशा की ओर जाने वाली सभी ट्रेनें इस मार्ग से अविलंब उसलापुर होते हुए कटनी दिशा की ओर जाने लगेंगी।
साथ ही बिलासपुर-रायपुर दिशा की ट्रेनों को नियंत्रित नहीं करना पड़ेगा, साथ ही उसलापुर स्टेशन पर यात्री सुविधा विकास के साथ ही व्यापारिक गतिविधियों का बेहतर संचालन करने में मदद मिलेगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को इस साल पहली बार अपने रेडियो कार्यक्रम मन की बात के जरिए देशवासियों को संबोधित किया।
इस दौरान उन्होंने कहा कि दो दिन पहले हम सभी देशवासियों ने 75वां गणतंत्र दिवस बहुत धूमधाम से मनाया है।
उन्होंने कहा, ‘इस साल हमारे संविधान के भी 75 वर्ष पूरे हो रहे हैं और सुप्रीम कोर्ट के भी 75 वर्ष हो रहे हैं। हमारे लोकतंत्र का ये पर्व मदर ऑफ डेमोक्रेसी के रूप में भारत को और सशक्त बनाते हैं।’
2024 के पहले मन की बात कार्यक्रम में पीएम मोदी ने राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा समारोह का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा, ‘अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा के अवसर ने देश के करोड़ों लोगों को मानो एक सूत्र में बांध दिया। सबकी भावना एक, सबकी भक्ति एक, सबकी बातों में राम… देश के अनेक लोगों ने इस दौरान राम भजन गाकर उन्हें श्रीराम के चरणों में समर्पित किया। 22 जनवरी की शाम को पूरे देश ने रामज्योति जलाई, दिवाली मनाई।’
26 जनवरी की परेड बहुत ही अद्भुत रही: पीएम मोदी पीएम मोदी ने कहा कि इस बार 26 जनवरी की परेड बहुत ही अद्भुत रही, लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा परेड में महिला शक्ति को देखकर हुई।
जब कर्त्तव्य पथ पर केंद्रीय सुरक्षा बलों और दिल्ली पुलिस की महिला टुकड़ियों ने कदमताल शुरू किया, तो सभी गर्व से भर उठे। उन्होंने कहा, ‘इस बार 13 महिला एथलीट्स को अर्जुन अवार्ड से सम्मानित किया गया है।
इन महिला एथलीट्स ने अनेकों बड़े टूर्नामेंट्स में हिस्सा लिया और भारत का परचम लहराया। बदलते हुए भारत में हर क्षेत्र में हमारी बेटियां, देश की महिलाएं कमाल करके दिखा रही हैं।’
‘जमीन से जुड़कर बड़े-बड़े बदलाव लाने वालों का सम्मान’ मन की बात कार्यक्रम में पीएम मोदी ने कहा, ‘तीन दिन पहले देश ने पद्म पुरस्कारों का ऐलान किया है जिसमें ऐसे लोगों को पद्म सम्मान दिया जा रहा है जिन्होंने जमीन से जुड़कर समाज में बड़े-बड़े बदलाव लाने का काम किया है।
मीडिया से दूर ये लोग बिना किसी लाइमलाइट के समाज सेवा में जुटे थे। मुझे खुशी है कि पद्म सम्मान घोषित होने के बाद ऐसे लोगों की हर तरफ चर्चा हो रही है।’
PM मोदी ने पद्म सम्मान पाने वालों को किया याद प्रधानमंत्री ने कहा, ‘इस बार छत्तीसगढ़ के हेमचंद मांझी को भी पद्म सम्मान मिला है। वैद्यराज हेमचंद मांझी भी आयुष चिकित्सा पद्धति की मदद से लोगों का इलाज करते हैं।
छत्तीसगढ़ के नारायणपुर में गरीब मरीजों की सेवा करते हुए उन्हें 5 दशक से ज्यादा का समय हो रहा है। वहीं, सुश्री यानुंग अरुणाचल प्रदेश की रहने वाली हैं और हर्बल औषधीय विशेषज्ञ हैं।
इन्होंने आदि जनजाति की पारंपरिक चिकित्सा प्रणाली को पुनर्जीवित करने के लिए काफी काम किया है। इस योगदान के लिए उन्हें इस बार पद्म सम्मान भी दिया गया है।’